अपना दल (एस) मध्य प्रदेश में डॉ. अतुल मलिकराम की प्रमुख भूमिका, आगामी रोडमैप पेश कर पार्टी को नई दिशा देने की तैयारी
मध्य प्रदेश में अपना दल (एस) पार्टी को एक नई दिशा देने के लिए पार्टी के रणनीतिकार डॉ. अतुल मलिकराम ने अपनी अहम भूमिका निभाना शुरू कर दिया है। हाल ही में आयोजित एक महत्वपूर्ण बैठक में डॉ. मलिकराम ने आगामी विधानसभा चुनावों के लिए रोडमैप पेश किया। इसमें पार्टी की रणनीति, संगठनात्मक विस्तार और चुनावी मोर्चा बनाने के साथ-साथ राज्य के विकास पर जोर दिया गया।
डॉ. मलिकराम ने पार्टी कार्यकर्ताओं को संजीवनी देने के लिए आगामी चुनावों में सफलता की दिशा में कई ठोस कदम उठाने का संकेत दिया। उन्होंने कहा, “हमारी प्राथमिकता समाज के हर वर्ग की आवाज़ को मजबूत करना है और हम जनता के बीच अपनी उपस्थिति को और मजबूत करेंगे।” साथ ही, उन्होंने ये भी कहा कि पार्टी आगामी चुनावों में मजबूत मुकाबला करेगी और लोगों के मुद्दों को लेकर सड़क से विधानसभा तक आवाज़ उठाएगी।
हाल ही में अपना दल (एस) की मध्य प्रदेश इकाई द्वारा प्रदेश की औद्योगिक नगरी इंदौर में एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया गया, जिसमें प्रदेशभर के जिलाध्यक्षों और प्रदेश पदाधिकारियों ने भाग लिया। बैठक(meeting) के दौरान प्रदेश संगठन को मजबूत करने और पार्टी के विस्तार की रणनीतियों पर विस्तार से चर्चा की गई। इस अवसर पर डॉ. अतुल मलिकराम ने अपने विचार साझा करते हुए संगठन को पूर्ण सहयोग देने का आश्वासन दिया। उन्होंने कहा, “माननीय केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल जी के नेतृत्व में, हम प्रदेशभर में पार्टी संगठन को सशक्त करेंगे और वार्ड स्तर पर अपने प्रतिनिधियों को नियुक्त करेंगे, ताकि प्रदेश के अंतिम व्यक्ति तक पार्टी की विचारधारा को पहुँचाया जा सके।”
Dr. Malikram ने कहा कि “संगठन को जमीनी स्तर पर मजबूत करने के लिए सभी कार्यकर्ताओं को एकजुट होकर युद्ध स्तर पर कार्य करना होगा। नए सदस्यों को जोड़ने के लिए ऑफलाइन व ऑनलाइन(offline and online) सदस्यता अभियान चलाए जाएंगे तथा पार्टी व ओबीसी के प्रमुख मुद्दों को सरकार के समक्ष ढृढ़ता के साथ उठाया जाएगा।“
बैठक के दौरान डॉ. मलिकराम ने पार्टी की आगामी योजनाओं पर अपना प्रस्तुतीकरण भी दिया, जबकि उपस्थित पदाधिकारियों ने प्रदेश भर में पार्टी की उपस्थिति को और अधिक प्रभावी बनाने का संकल्प लिया। पार्टी के इस आयोजन ने संगठन को एक नई दिशा देने का काम किया और निश्चित रूप से आने वाले समय में संगठनात्मक गतिविधियों में तेजी आएगी।