Chaitra Navratri: नवरात्रि के पहले दिन पहाड़ों की रानी के रूप में मां शैलपुत्री की पूजा-

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Chaitra Navratri: नवरात्रि का पहला दिन, जिसे ‘प्रथम’ या ‘प्रतिपदा’ के नाम से जाना जाता है, हिंदू धर्म में एक बहुत महत्वपूर्ण घटना है। यह नौ दिनों तक चलने वाले पवित्र त्योहार की शुरुआत का प्रतीक है जिसमें भगवान दुर्गा की पूजा की जाती है। इस साल नवरात्रि 9 अप्रैल यानी आज से शुरू हो गई है. नौ दिवसीय इस त्योहार के हर दिन का एक अलग महत्व है। पहले दिन भगवान दुर्गा की पूजा की जाती है, जिन्हें मां शैलपुत्री के रूप में पूजा जाता है। माँ शैलपुत्री का अर्थ है ‘पहाड़ रानी’ और उन्हें पहाड़ों की रानी के रूप में पूजा जाता है-Chaitra Navratri

प्रतिपदा के दिन लोग घरों और मंदिरों में भगवान दुर्गा की प्रतिमा स्थापित कर पूजा-अर्चना करते हैं। सुबह से ही लोग मंदिरों में आकर विशेष रूप से पूजा-अर्चना करते हैं। यह दिन माता शैलपुत्री की पूजा-अर्चना के साथ व्यतीत किया जाता है।

लोग नवरात्रि का पहला दिन ध्यान और आध्यात्म में बिताते हैं। वे माता शैलपुत्री की कहानी सुनते हैं और उनका आशीर्वाद लेते हैं। इस अवसर पर सभी लोग एक साथ मिलकर धार्मिक गतिविधियों में शामिल होते हैं और प्रसाद बांटते हैं। खासकर, युवा लोग नवरात्रि के शुरुआती दिनों में तरह-तरह के संगीत और नृत्य का आनंद लेते हैं।

महत्वपूर्ण संदेश यह है कि नवरात्रि के पहले दिन को धर्म और अध्यात्म की शुरुआत के रूप में मनाया जाए। यह दिन लोगों को आध्यात्मिकता और प्रेम की ओर मार्गदर्शन करने का अवसर प्रदान करता है। इस नवरात्रि सभी को मिलकर माता शैलपुत्री की पूजा करनी चाहिए और आत्मशुद्धि और आत्म-विकास की दिशा में कदम बढ़ाना चाहिए।

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Ramesh Kumar
Author: Ramesh Kumar

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