सरकार का चूना लगाने में लगा मध्यान्ह भोजन माफिया
समूह किसी और का संचालित कर रहा वीरेन्द्र जायसवाल
अवनीश तिवारी
सिंगरौली। केन्द्र व प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी मध्यान्ह भोजन योजना सिंगरौली जिले में मध्यान्ह भोजन माफिया की कारगुजारियों से भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया है। सरकार द्वारा मध्यान्ह भोजन योजना इसलिए चलायी गयी थी कि सरकारी विद्यालयों तथा आंगनवाड़ी केन्द्रों में गरीब बच्चों को भरपेट भोजन मिले जिससे विद्यालय में उपस्थिति बढ़े तथा गरीब को एक वक्त का भोजन मिल जाये परन्तु जिले में जिस तरह से यह योजना संचालित की जा रही है उससे न तो विद्यालयों में छात्रों की संख्या बढ़ी है और ना ही किसी बच्चे को मीनू के अनुसार भोजन मिल रहा है। जिले में समूह तो सैकड़ो हैं परन्तु उनका संचालन वीरेन्द्र जायसवाल नामक व्यक्ति के द्वारा संचालित किया जाता है।
उक्त व्यक्ति की प्रशासन के इतनी साठगांठ है कि मध्यान्ह भोजन, आंगनवाड़ी केन्द्रों में मध्यान्ह भोजन, सरकारी आयोजनों में भोजन बनाने का काम हो या दीनदयाल अन्त्योदय रसोई का संचालन हो यह सारे काम एक व्यक्ति के द्वारा संचालित किया जा रहा है। प्रशासनिक अधिकारियों से वीरेन्द्र जायवाल की इतनी पैठ हो गयी है कि वह तो लाखों में कमा रहा है परन्तु सरकार की योजना धूल चाटने लगी है। मीनू तो दूर की बात है विद्यालयों तथा आंगनवाड़ी केन्द्रों में कच्चा चावल व पानी पानी दाल मिल जाये यही बहुत है।
अन्नपूर्णा रसोई हो या आंगनवाड़ी केन्द्र या विद्यालयों का मध्यान्ह भोजन उक्त समूह संचालक द्वारा ऐसा भोजन पर परोसा जाता है कि खाने वाला दोबारा वह खाना ग्रहण ही नहीं करना चाहता। आंगनवाड़ी केन्द्रों में बच्चों की उपस्थिति जीरो है परन्तु उक्त व्यक्ति द्वारा फर्जी हाजिरी दिखाकर लाखों रूपये आहरित किये जा रहे हैं। यही हाल विद्यालय व अन्नपूर्णा रसोई का भी है। पांच लोगों को भोजन कराकर सैकड़ो लोगों का नाम लिख लिया जाता है और भोजन सामग्री का आहरण कर लिया जाता है। इस गोरखधंधे में लाखों रूपये वीरेन्द्र जायसवाल द्वारा कमाई की जा रही है और सरकारी योजना जमीन में पहुंच गयी है।